किसान कॉलेज में गूंजा भारतेंदु का संदेश, ‘अंधेर नगरी’ के मंचन ने बांधा समां

बिहारशरीफ (नालंदा) : हिंदी पखवाड़ा के अंतर्गत मंगलवार को किसान कॉलेज, सोहसराय में हिंदी साहित्य के जनक कहे जाने वाले भारतेंदु हरिश्चंद्र की जयंती मनाई गई। इस अवसर पर महाविद्यालय के छात्र-छात्राओं द्वारा उनकी प्रसिद्ध रचना ‘अंधेर नगरी’ का मंचन किया गया, जो कार्यक्रम का मुख्य आकर्षण रहा। नाटक का निर्देशन हिंदी विभागाध्यक्ष डॉ. बेबी कुमारी ने किया।
कार्यक्रम की शुरुआत महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो. (डॉ.) दिवांशु कुमार ने भारतेंदु हरिश्चंद्र के चित्र पर माल्यार्पण कर की। अपने संबोधन में उन्होंने कहा, “भारतेंदु हरिश्चंद्र आधुनिक हिंदी गद्य के जनक और नवजागरण के अग्रदूत हैं। हिंदी के विकास में उनके अवदान को भुलाया नहीं जा सकता।”
वनस्पति विज्ञान विभागाध्यक्ष डॉ. सुधीर रंजन ने कहा कि हिंदी केवल भाषा नहीं बल्कि हमारी संस्कृति की आत्मा है। उन्होंने ऐसे आयोजनों को छात्रों में रचनात्मक और भाषायी चेतना जगाने वाला बताया।
कार्यक्रम में अंग्रेजी विभागाध्यक्ष डॉ. सत्येंद्र कुमार सिन्हा, डॉ. प्रमोद कुमार, डॉ. आनंद समदर्शी, डॉ. बलजीत बिहारी, डॉ. कुशलदेव प्रसाद सिंह, डॉ. अवधेश कुमार द्विवेदी, डॉ. संजीव कुमार, डॉ. रवि कुमार, डॉ. जवाहरलाल मंडल, डॉ. प्रवीण कुमार, डॉ. रामअवधेश कुमार, डॉ. ज्ञानेश्वर राय, डॉ. पीयूष पाणिनि, रश्मि रानी और ए.एस. रहमान सहित महाविद्यालय के अन्य प्राध्यापक, शिक्षकेतर कर्मचारी तथा बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएं मौजूद रहे।
पूरे कार्यक्रम का माहौल साहित्यिक और सांस्कृतिक चेतना से ओत-प्रोत रहा और छात्रों ने भारतेंदु हरिश्चंद्र के योगदान को नई दृष्टि से समझा।